Chanakya Niti | चाणक्य नीति चाणक्य नीति की 10 बातें | सुविचार, अनमोल वचन, कोट्स

Chanakya Niti

Chanakya Niti:-चाणक्य नीति के बारे में आप लोगों ने पढ़ा और सुना चाणक्य नीति चाणक्य के द्वारा बनाई गई एक ऐसी नीति ग्रंथ है जिसका अनुसरण कर आप अपने जीवन में सभी लक्ष्य की प्राप्ति कर सकते हैं हम आपको बता दें कि चाणक्य एक जाने-माने महान पंडित और राजनीतिक सलाहकार थे I इसलिए हम सबको चाणक्य नीति के बारे में अध्ययन करना चाहिए क्योंकि इसमें लिखे शब्द काफी ज्ञानवर्धक और शिक्षाप्रद है I अब आप लोगों के मन में सवाल आता होगा कि चाणक्य नीति क्या है chanakya quotes hindi hindi chanakya niti  चाणक्य के कड़वे वचन.चाणक्य नीति की 10 बातें सुविचार चाणक्य आप इनके बारे में कुछ भी नहीं जानते हैं तो हम आपसे निवेदन करेंगे कि हमारे साथ आर्टिकल पर आकर तक बने रहें चलिए शुरू करते हैं- 

 स्वामी विवेकानंद कोट्स हिंदी में

Chanakya Niti 2023

आर्टिकल का प्रकारचाणक्य नीति
आर्टिकल का नामचाणक्य नीति सुविचार
साल2023
चाणक्य कौन थेमहान पंडित और राजनीतिक सलाहकार
उन्होंने कौन सा ग्रंथ लिखा थाचाणक्य नीति शास्त्र
उनकी मृत्यु कब हुई283ई

चाणक्य सुविचार | Chanakya Suvichar

जैसे एक बछड़ा हज़ारो गायों के झुंड मे अपनी माँ के पीछे चलता है।
उसी प्रकार आदमी के अच्छे और बुरे कर्म उसके पीछे चलते हैं।” ~ आचार्य चाणक्य

“विद्या को चोर भी नहीं चुरा सकता।” ~ आचार्य चाणक्य

सबसे बड़ा गुरु मंत्र, अपने राज किसी को भी मत बताओ।
ये तुम्हे खत्म कर देगा।” ~ आचार्य चाणक्य

एक समझदार आदमी को सारस की तरह होश से काम लेना चाहिए और जगह,
वक्त और अपनी योग्यता को समझते हुए अपने कार्य को सिद्ध करना चाहिए।” ~ आचार्य चाणक्य

“ईश्वर मूर्तियों में नहीं है। आपकी भावनाएँ ही आपका ईश्वर है।
आत्मा आपका मंदिर है।” ~ आचार्य चाणक्य

“पुस्तकें एक मुर्ख आदमी के लिए वैसे ही हैं,
जैसे एक अंधे के लिए आइना।” ~ आचार्य चाणक्य 

प्रेम से भरी हुई आंखें,

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श्रद्धा से झुका हुआ सिर,

सहयोग करते हुए हाथ,

सन्मार्ग पर चलते हुए पाँव

और सत्य से जुड़ी  हुई जीभ,

ईश्वर की पसंदीदा चीजें है।

दुर्बल के साथ संधि ना करें।” ~ आचार्य चाणक्य

“किसी विशेष प्रयोजन के लिए ही शत्रु मित्र बनता है।” ~ आचार्य चाणक्य

“संधि करने वालों में तेज़ ही संधि का होता है।” ~ आचार्य चाणक्य

“कच्चा पात्र कच्चे पात्र से टकराकर टूट जाता है।” ~ आचार्य चाणक्य

“संधि और एकता होने पर भी सतर्क रहें।” ~ आचार्य चाणक्य

“शत्रुओं से अपने राज्य की पूर्ण रक्षा करें।” ~ आचार्य चाणक्य

“शिकारपरस्त राजा धर्म और अर्थ दोनों को नष्ट कर लेता है।” ~ आचार्य चाणक्य

“भाग्य के विपरीत होने पर अच्छा कर्म भी दु:खदायी हो जाता है।” ~ आचार्य चाणक्य

“ये मत सोचो की प्यार और लगाव एक ही चीज है।
दोनों एक दूसरे के दुश्मन हैं। ये लगाव ही है
जो प्यार को खत्म कर देता है।” ~ आचार्य चाणक्य

“दौलत, दोस्त ,पत्नी और राज्य दोबारा हासिल किये जा सकते हैं,
लेकिन ये शरीर दोबारा हासिल नहीं किया जा सकता।” ~ आचार्य चाणक्य

Canakya Quotes Hindi | चाणक्य कोट्स इन हिंदी

“पृथ्वी सत्य पे टिकी हुई है। ये सत्य की ही ताक़त है, जिससे सूर्य चमकता है और हवा बहती है। वास्तव में सभी चीज़ें सत्य पे टिकी हुई हैं।” ~ आचार्य चाणक्य

“फूलों की खुशबू हवा की दिशा में ही फैलती है, लेकिन एक व्यक्ति की अच्छाई चारों तरफ फैलती है।” ~ आचार्य चाणक्य

“जो हमारे दिल में रहता है, वो दूर होके भी पास है। लेकिन जो हमारे दिल में नहीं रहता, वो पास होके भी दूर है।” ~ आचार्य चाणक्य

“जैसे एक सूखा पेड़ आग लगने पे पुरे जंगल को जला देता है। उसी प्रकार एक दुष्ट पुत्र पुरे परिवार को खत्म कर देता है।” ~ आचार्य चाणक्य

“जिस आदमी से हमें काम लेना है, उससे हमें वही बात करनी चाहिए जो उसे अच्छी लगे। जैसे एक शिकारी हिरन का शिकार करने से पहले मधुर आवाज़ में गाता है।” ~ आचार्य चाणक्य 

एक आदर्श पत्नी वो है जो अपने पति की सुबह माँ की तरह सेवा करे और दिन में एक बहन की तरह प्यार करे और रात में एक वेश्या की तरह खुश करे।” ~ आचार्य चाणक्य

“वो जो अपने परिवार से अति लगाव रखता है भय और दुख में जीता है। सभी दुखों का मुख्य कारण लगाव ही है, इसलिए खुश रहने के लिए लगाव का त्याग आवशयक है।” ~ आचार्य चाणक्य

“एक संतुलित मन के बराबर कोई तपस्या नहीं है। संतोष के बराबर कोई खुशी नहीं है। लोभ के जैसी कोई बिमारी नहीं है। दया के जैसा कोई सदाचार नहीं है।” ~ आचार्य चाणक्य

“ऋण, शत्रु और रोग को समाप्त कर देना चाहिए।” ~ आचार्य चाणक्य

“वन की अग्नि चन्दन की लकड़ी को भी जला देती है, अर्थात दुष्ट व्यक्ति किसी का भी अहित कर सकते हैं।” ~ आचार्य चाणक्य

“शत्रु की दुर्बलता जानने तक उसे अपना मित्र बनाए रखें।” ~ आचार्य चाणक्य

“सिंह भूखा होने पर भी तिनका नहीं खाता।” ~ आचार्य चाणक्य

“अन्न के सिवाय कोई दूसरा धन नहीं है।” ~ आचार्य चाणक्य

“भूख के समान कोई दूसरा शत्रु नहीं है।” ~ आचार्य चाणक्य

“विद्या ही निर्धन का धन है।” ~

चाणक्य नीति की 10 बातें | Chanakya Niti 10 Line

1.जिस व्यक्ति के पास दया और धर्म नहीं है उससे दूर रहो।

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2.जिस पत्नी के चेहरे पर हरदम घृणा है उसे दूर करो। जिन रिश्तेदारों के पास प्रेम नहीं उन्हें दूर करो।

3.जब तक शरीर स्वस्थ और आपके नियंत्रण में है। उस समय आत्म साक्षात्कार के लिए उपाय अवश्य ही कर लेना चाहिए, क्योंकि मृत्यु के पश्चात कोई कुछ भी नहीं कर सकता।

4.विद्यार्जन करना एक कामधेनु के समान है, जो मनुष्य को हर मौसम में अमृत प्रदान करती है

5.* वही पत्नी अच्छी है जो पति को प्रसन्न करने वाली, शुचिपूर्ण, पारंगत, शुद्ध और सत्यवादी है।

6. जिस व्यक्ति के घर पुत्र नहीं है उसका घर उजाड़ है। जिसका कोई संबंधी नहीं, उसकी सभी दिशाएं उजाड़ है। मूर्ख व्यक्ति का ह्रदय उजाड़ है। निर्धन व्यक्ति का तो सब कुछ उजाड़ है।

7.जिस अध्यात्मिक सीख का आचरण नहीं किया जाता वह जहर के समान

8.जिस गुरु के पास अध्यात्मिक ज्ञान नहीं है, उसे दूर करो। 

9.निर्धन व्यक्ति के लिए लोगों का किसी सामाजिक या व्यक्तिगत कार्यक्रम में एकत्र होना जहर है।

10.जिसका पेट खराब है उसके लिए भोजन जहर,

Chanakya Niti Hindi

अपमानित हो के जीने से अच्छा मरना है।

मृत्यु तो बस एक क्षण का दुःख देती है,

लेकिन अपमान हर दिन

जीवन में दुःख लाता है। – चाणक्य

जब आप किसी काम की शुरुआत करें,

तो असफलता से मत डरें और

उस काम को ना छोड़ें।

जो लोग ईमानदारी से काम करते हैं

वो सबसे प्रसन्न होते हैं। – चाणक्य 

प्रेम से भरी हुई आंखें,

श्रद्धा से झुका हुआ सिर,

सहयोग करते हुए हाथ,

सन्मार्ग पर चलते हुए पाँव

और सत्य से जुड़ी हुई जीभ,

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ईश्वर की पसंदीदा चीजें है।

– आचार्य चाणक्य 

अच्छे समय से ज्यादा,

अच्छे इंसान के साथ रिश्ता रखो,

अच्छा इंसान अच्छा समय ला सकता है,

अच्छा समय अच्छा इंसान नहीं ला सकता।

– आचार्य चाणक्य 

यदि किसी का स्वभाव अच्छा है

तो उसे किसी और गुण की क्या जरूरत है ?

यदि आदमी के पास प्रसिद्धि है

तो भला उसे और किसी श्रृंगार

की क्या आवश्यकता है। – चाणक्य

“एक समझदार आदमी को सारस

की तरह होश से काम लेना चाहिए

और जगह, वक्त और अपनी योग्यता

को समझते हुए अपने कार्य को सिद्ध करना चाहिए।”

~ आचार्य चाणक्य

चाणक्य खुश रहने का मतलब यह नहीं कि सब कुछ ठीक है,

बल्कि इसका मतलब यह है कि

अपने दुखों के ऊपर जीवन जीना सीख लिया है।

– आचार्य चाणक्य 

जब जीवन के बारे में सोचो तब यह सदैव याद रखना कि,

पछतावा अतीत बदल नहीं सकता,

और चिंता भविष्य को सवार नहीं सकती,

एकाग्रता से किया गया परिश्रम ही

वास्तविक चमत्कार करता है।

– आचार्य चाणक्य 

चाणक्य नीति के अनमोल वचन | Chanakya Niti ke Anmol Vachan

मृत्यु भी धर्म पर चलने वाले व्यक्ति की रक्षा करती है।जहां पाप होता है वहां धर्म का अपमान होता है।

नसीम के सहारे चलना अपने पैरों पर कुल्हाड़ी करने के बराबर है। और ऐसे लोगों को बर्बाद होने में वक्त भी नहीं लगता।

अच्छे आचरण से दुखों से मुक्ति मिलती है।विवेक से अज्ञानता को मिटाया जा सकता है। और जानकारी से को दूर किया जा सकता है

फूलों की सुगंध हवा से केवल उसी दिशा में बहती है। जिस दिशा में हवा चल रही होती है। जब इंसान के अच्छे गुणों की महक चारों दिशाओं में फैलती है।

दूसरों की गलतियों से सीखो अपने ही ऊपर प्रयोग करके सीखने में तुम्हारी आयु कम पड़ेगी।

.कल के मोऱ से आज का कबूतर वाला अर्थात संतोष सबसे बड़ा धन है

.भाग्य पुरुषार्थी के पीछे चलता है।अर्थ ,धर्म और कर्म का आधार है।शत्रु दंडनीति के योग्य है।

.दूध के लिए हाथ में पालने की जरूरत नहीं होती अर्थात आवश्यकतानुसार साधन जुटाने चाहिए।

ज्ञान से राजा अपनी आत्मा का परिष्कार करता है।संपादन करता है।

.दुर्बल के साथ संधि ना करें।ठंडा लोहा लोहे से नहीं जुड़ता।

चाणक्य के कड़वे वचन | Chanakya ke Karwe Vachan

1. दुष्टों और कांटो से बचने के सिर्फ दो ही उपाय है, जूतों से उन्हें कुचल डालना या उनसे दूर रहना।

2. जंगल की अग्नि चंदन की लकड़ी को भी जला देती है अर्थात दुष्ट व्यक्ति किसी का भी बुरा कर सकते है।

3. कामयाबी तक जाने वाले रास्ते सीधे नही होते है, लेकिन कामयाबी मिलने पर सभी रास्ते सीधे हो जाते है।

4. अगर जिंदगी में कोई बड़ा कदम लेने जा रहें हो तो याद रखना आपका अगला कदम पिछले से बेहतरीन हो।

5. बहुत से गुण होने के बावजूद भी सिर्फ एक दोष सब कुछ नष्ट कर सकता है।

6. पराजय तब नही होती है जब आप गिर जाते है पराजय तब होती है जब आप उठने से इंकार कर देते है।

7. इतनी जल्दी दुनिया की कोई चीज नही बदलती है, जितनी जल्दी इंसान की नीयत और नजरे बदल जाती है।

8. किसी भी लड़की के बारे में इतना ही बोलो जितना आप अपनी बहन के बारे में सुन सको।

FAQ’s Chanakya Niti 2023

Q. चाणक्य कौन थे?

Ans. चाणक्य एक महान शिक्षक, दार्शनिक, अर्थशास्त्री, वकील, प्रधान मंत्री और राजनयिक थे।उन्हें कौटिल्य के नाम से भी जाना जाता था और साथ में चंद्रगुप्त मौर्य के राजनीतिक सलाहकार थे!

Q. चाणक्य का जन्म कहाँ हुआ था?

Ans. चाणक्य का जन्म 375 ईसा पूर्व में तक्षशिला, पाकिस्तान में एक गरीब ब्राह्मण परिवार में हुआ था। 

Q. चाणक्य की मृत्यु कब और कैसे हुई थी?

Ans. चाणक्य के एक दुश्मन ने 283ई. में उनकी कुटिया में आग लगाकर उनको जिन्दा जलाकर मार दिया था!

इस ब्लॉग पोस्ट पर आपका कीमती समय देने के लिए धन्यवाद। इसी प्रकार के बेहतरीन सूचनाप्रद एवं ज्ञानवर्धक लेख easyhindi.in पर पढ़ते रहने के लिए इस वेबसाइट को बुकमार्क कर सकते हैं

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