करवा चौथ 2023:– करवा चौथ एक हिंदू त्योहार है जो विवाहित महिलाओं द्वारा मनाया जाता है, और यह आम तौर पर कार्तिक महीने में पूर्णिमा के उद्भव के बाद चौथे दिन पड़ता है। मूल रूप से यह दिन सैनिकों की सुरक्षा और संरक्षण के लिए प्रार्थना करके मनाया जाता था। हालाँकि, आधुनिक दिनों में, विवाहित महिलाएँ अपने जीवनसाथी की सुरक्षा के लिए उपवास और प्रार्थना करके करवा चौथ मनाती हैं। यह त्योहार हिंदू महीने कार्तिक में पूर्णिमा के बाद चौथे दिन मनाया जाता है, जो आमतौर पर अक्टूबर में आता है। ग्रेगोरियन कैलेंडर में नवंबर 2023 में करवा चौथ 1 नवंबर को पड़ने जा रहा है। उगता चंद्रमा संकेत देता है कि महिला के लिए अपना व्रत तोड़ने का समय हो गया है। आमतौर पर, पति अपनी पत्नी को पानी और दिन का पहला भोजन परोसने के लिए तैयार रहता है, यह वह क्षण होता है जो अपने साथी की भक्ति के लिए आशा और प्रशंसा को प्रेरित करता है।इस लेख के जरिए हम आपको करवा चौथ कब है? और इसे क्यों और कैसे मनाया जाता है इसके बारे में चर्चा करेंगे। करवा चौथ के पीछे के कारण जानने के लिए हमारे इस लेख को आखिर तक पढ़े।
करवा चौथ कब है? Karva Chauth Kab Hai 2023
हिंदू कैलेंडर के अनुसार, करवा चौथ का व्रत कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष चतुर्थी को रखा जाता है। इस साल यह 1 नवंबर को मनाया जाएगा।करवा चौथ उपवास (उपवास) का समय सुबह 6:33 बजे से रात 8:15 बजे तक है और पूजा का समय शाम 5:36 बजे से शाम 6:54 बजे तक रहेगा।इस बीच, चंद्रोदय का समय रात 8:15 बजे है। अंत में, चतुर्थी तिथि 31 अक्टूबर को रात 9:30 बजे शुरू होगी और 1 नवंबर को रात 9:19 बजे समाप्त होगी।करवा चौथ अक्सर संकष्टी चतुर्थी के साथ मेल खाता है जो भगवान गणेश के लिए मनाया जाने वाला उपवास का दिन है। इस दिन विवाहित महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र की कामना के लिए भगवान शिव की पूजा करती हैं।
इस दिन भगवान गणेश सहित परिवार सहित भगवान शिव की पूजा की जाती है और चंद्रमा को देखने के बाद व्रत समाप्त होता है। चंद्रमा के उदय होने पर चंद्रमा को अर्घ्य दिया जाता है। उपवास बहुत सख्ती से किया जाता है और चंद्रमा निकलने तक भोजन का एक टुकड़ा या पानी की एक बूंद भी नहीं पीया जा सकता है। करवा चौथ को लोकप्रिय रूप से करक चतुर्थी भी कहा जाता है। करक या करवा का तात्पर्य मिट्टी के बर्तन से है जिसके माध्यम से चंद्रमा को जल अर्पित किया जाता है। चंद्रमा को जल चढ़ाने को अर्घ कहा जाता है। करवा चौथ पूजा के दौरान करक का बहुत महत्व है और इसे ब्राह्मणों या किसी योग्य महिला को दान के रूप में भी दिया जाता है।
त्योहार का नाम | करवा चौथ |
वर्ष | 2023 |
कहां मनाया जाता है | लगभग सम्पूर्ण भारत में |
व्रत दिनांक | 1 नवंबर 2023 |
वार | बुधवार |
तिथि | चतुर्थी |
माह | कार्तिक मास |
मुहूर्त | 1 नवंबर समय सुबह 6:33 बजे से रात 8:15 बजे तक है |
माह पक्ष | शुक्ल पक्ष |
करवा चौथ व्रत धारण विधि एवं व्रत कथा | Click Here |
करवा चौथ क्यों मनाया जाता है? Karva Chauth Kyu Manaya Jata Hai
आमतौर पर Karva Chauth Vart को सुहागन स्त्रियां रखती है। इसके पीछे धार्मिक कारण एवं आध्यात्मिक शक्ति को अगर हम ध्यान पूर्वक समझेंगे। तो यह एक पौराणिक कथा से जुड़ी हुई परंपरा है। जिससे स्त्री के द्वारा रखे गए व्रत के कारण पति को लंबी उम्र का वरदान मिलता है। पौराणिक कथाओं के अनुसार जब माता सती सावित्री अपने पति सत्यवान के लिए निर्जला व्रत रखे जाते थे। जब यमराज द्वारा सत्यवान को प्राण हरने का आह्वान किया गया। तब माता सती ने उन्हें अपने व्रत के प्रभाव से रोक लिया था। इसी परंपरा को आज भी हिंदू धर्म में पतिव्रता स्त्रियों द्वारा अपने पति की लंबी उम्र की मनोकामना एवं शक्ति प्रदान हेतु रखा जाता है। इस दिन स्त्रियां करवा चौथ व्रत की तैयारी, संकल्प एवं व्रत कथा को सुनकर पूरे दिन निर्जला व्रत का पालन करती है।
करवा चौथ व्रत को क्या किया जाता है? Karva Chauth Vart Ko Kya Kiya Jata Hai
सुहागन स्त्रियों द्वारा रखे जाने वाले करवा चौथ का व्रत पति पत्नी के संबंध को अटूट बनाता है। इस व्रत से दोनों के बीच प्रेम प्रभाव के साथ-साथ शक्ति का प्रादुर्भाव होता है। पत्नी के द्वारा पति की सुख शांति समृद्धि एवं दीर्घायु आशीर्वाद प्राप्ति के लिए रखे जाने व्रत में कुछ विशेष कार्यक्रम शामिल है जैसे:-
- सुहागन स्त्रियों द्वारा सुबह जल्दी उठकर दैनिक कार्यों से निवृत्ति के बाद करवा चौथ व्रत का संकल्प लिया जाता है।
- करवा चौथ के दिन माता सती सावित्री एवं सत्यवान की कथा सुनी जाती है।
- पत्नियों द्वारा चंद्रमा उदय होने तक निर्जला व्रत का पालन किया जाता है।
- साथ ही स्त्रियों द्वारा बड़ी स्त्रियां एवं सास को गिफ्ट देने के साथ-साथ उनका आशीर्वाद भी लिया जाता है।
करवा चौथ पूजा विधि (Karwa Chauth Pooja Vidhi)
पत्नियों द्वारा करवा चौथ का व्रत पालन करने की विधि एवं पूजा विधि को हम विस्तारपूर्वक बताने का प्रयास कर रहे हैं। साथ ही आपको करवा चौथ के दिन बोले जाने वाले मंत्र का भी उल्लेख कर रहे हैं। अतः आप करवा चौथ के दिन इसमें लगने वाली सामग्री जैसे माता गोरी का चित्र, गणेश प्रतिमा, प्रसाद, फूल माला, सामग्री को जुटा लें।
- व्रत के दिन दैनिक कार्यों से निवृत्त होने के पश्चात व्रत का संकल्प लें।
- जिन मंत्रों को आप आसानी से बोल सकते हैं। उनका जाम करें जैसे (ओम नमः गणेशाय, ओम नमः शिवाय, ऊँ अमृतांदाय विदमहे कलारूपाय धीमहि तत्रो सोम: प्रचोदयात, चंद्र देव को प्रसन्न करने के लिए ‘ॐ सोमाय नमः’ और ॐ षण्मुखाय नमः मंत्र का जाप करें)
- माता सती सावित्री एवं सत्यवान की कथा सुने
- निर्जला व्रत संकल्प ले
- व्रत में पूरे दिन अन्न और जल ग्रहण न करें और चंद्रोदय के दर्शन और पूजन के बाद की कुछ सात्विक खाएं।
- शाम के समय पूजन करते हुए पति की दीर्घायु की कामना करते हुए चन्द्रमा से प्रार्थना करें और व्रत का पारण करें।
- चावल के आटे में हल्दी मिलाकर आयपन बनाएं और इससे जमीन पर सात घेरे बनाते हुए चित्र बनाएं। जमीन में बने इस इस चित्र के ऊपर करवा रखें और इसके ऊपर नया दीपक रखें। करवा में आप 21 सींकें लगाएं और करवा के भीतर खील बताशे (करवे में क्या भरा जाता है), चूरा और साबुत अनाज डालें।
- करवा के ऊपर रखे दीपक को प्रज्ज्वलित करें। इसके पास आटे की बनी पूड़ियां, मीठा हलवा, खीर, पकवान और भोग की सभी सामाग्रियां रखें।
- इस पूजा में मुख्य रूप से चावल के आटे का प्रसाद तैयार किया जाता है और व्रत खोलते समय जल के बाद सबसे पहले इसी प्रसाद को ग्रहण करना चाहिए।
- करवा के साथ आप सुहाग की सामग्री भी चढ़ा सकती हैं। यदि आप सुहाग की सामग्री चढ़ा रही हैं तो सोलह श्रृंगार चढ़ाएं। करवा के पूजन के साथ एक लोटे में जल भी रखें। इससे चन्द्रमा को अर्घ्य दिया जाता है। पूजा करते समय करवा चौथ व्रत कथा का पाठ करें।
- चन्द्रमा को जल से अर्घ्य दें।
करवा चौथ की हार्दिक शुभकामनाएं | Karwa Chauth Ki Hardik Badhai Message
चांद की रोशनी ये पैगाम लाई
करवा चौथ पर सबके मन में खुशियां लाई
सबसे पहले हमारी तरफ से आपको
करवा चौथ की ढेर सारी बधाई
करवा चौथ का ये त्योहार
आए और लाए खुशियां हज़ार
यही है दुआ हमारी
आप हर बार मनाएं ये त्योहार
सलामत रहें आप और आपका परिवार
मेहंदी का लाल रंग आप के प्यार की गहराई दिखाता है
माथें पर लगाया हुआ सिन्दूर आपकी दुआएं दिखता है
गले में पहना हुआ मंगलसूत्र हमारा मजबूत रिश्ता दिखता है
इस व्रत की हर रसम निभाऊंगी,
एक सच्ची पत्नी बन कर दिखाऊंगी,
दुनिया की हर खुशी मेरे पति की होगी,
जब बादलों को चीर कर चांद की एक किरण दिखेगी।
करवा चौथ 2023 की शुभकामनाएं
माथे की बिंदिया खनकती रहे,
हाथों में चूड़ियां खनकती रहे,
पैरों की पायल झनकती रहे,
पिया संग प्रेम बेला सजती रहे
करवा चौथ 2023 की बधाई
चांद की पूजा से करती हूं
चांद की पूजा से करती हूं
तेरी सलामती की दुआ
तुझे लग जाए मेरी भी उमर
गम रहे हर पल जुदा।
करवाचौथ की हार्दिक बधाई…
माथे की बिंदिया खनकती रहे,
हाथों में चूड़ियां खनकती रहे,
पैरों की पायल झनकती रहे,
पिया संग प्रेम बेला सजती रहे।
हैप्पी करवा चौथ 2023
सुख-दुःख में
हम-तुम हर पल
साथ निभाएंगे
एक जन्म नहीं
सातों जन्म पति-पत्नी बन आएंगे।
शुभ करवा चौथ
व्रत रखा है मैंने,
बस एक प्यारी सी ख्वाइश के साथ,
हो लंबी उमर तुम्हारी,
हर जन्म में मिले तुम्हारा ही साथ।
हैप्पी करवा चौथ 2023
Happy Karva Chauth 2023
दिल मेरा फिर से तेरा प्यार मांगे
प्यासे नयना फिर से तेरा दीदार मांगे
प्रेम और स्नेह से प्रकाशित हो दुनिया मेरी
ऐसा साथी पूरा जग संसार मांगे Happy Karva Chauth 2023